दिल्ली विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा गुरुवार को ऑनलाइन परीक्षा कराने से संबंधित नोटिफिकेशन जारी किया गया है, जिसमें यह निर्देश दिया है कि ओपन बुक एग्जाम कराए जाएंगे। इसके बाद ही सोशल मीडिया पर यह मुद्दा खूब छाया। 15 मई को ट्विटर पर भी #DUAgainstOnlineExams ट्रेंड कर रहा था। विरोध करने वालों में एनएसयूआई, सीवाईएसएस, एसएफआई, आईसा जैसे तमाम छात्र संगठन भी शामिल हैं।
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सीवाईएसएस की मीडिया इंचार्ज शिवानी सिंह का कहना है कि जिस तरह केंद्र सरकार ने गत दिनों नोटबंदी और लॉक डाउन जैसे बड़े कदमों को बिना तैयारी किए उठाया था ठीक उसी तरीके से दिल्ली विश्वविद्यालय का यह कदम भी बिना तैयारी किए उठाया गया है, जो कि छात्र हितों के खिलाफ है। खासकर ग्रामीण छात्र इस कदम की वजह से मुसीबत में पड़ जाएंगे।
Conducting online examination is not a solution. Most of the students don’t have basic resources for online exams like smartphones, laptops, and a good internet connection.
We demand to roll back the decision to execute online exam.#DUAgainstOnlineExams— CYSS DELHI (@Cyss_AAP) May 15, 2020
दिल्ली विश्वविद्यालय में इतिहास के छात्र विराट तिवारी कहते हैं कि मैं उत्तर प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्र ताल्लुकात रखता हूँ। विश्वविद्यालय प्रशासन यह भूल रहा है कि विश्वविद्यालय के अधिकांश छात्र ग्रामीण क्षेत्र से है और उनके पास इंटरनेट तथा जरूरी इलेक्ट्रॉनिक उपकरण की समुचित व्यवस्था नही है। मैं स्वयं ग्रामीण क्षेत्र से हूं तथा आसपास के इलाके के छात्र हमसे लगातार यह बात कह रहे कि अगर ऑनलाइन परीक्षा होती है तो वो परीक्षा में शामिल नही हो सकते हैं।
सीवाईएसएस के उपाध्यक्ष चंद्रमणि देव का कहना है कि यह कदम तानाशाही से प्रेरित है। गरीब,दिव्यांग और पिछड़े समुदायों को शिक्षा से दूर रखने की सोची समझी साजिश है। इंटरनेट की सुविधा न होने की वजह से जो छात्र गांव में रह रहे हैं उन्हें नज़दीक के शहर में जाकर साइबर कैफ़े का सहारा लेना पड़ेगा जो कि मुश्किल काम है।
एनएसयूआई दिल्ली ने छात्रों के समर्थन में ऑनलाइन परीक्षा का विरोध किया है और कहा है कि सभी छात्रों के पास किताब व इंटरनेट की पहुंच नहीं है-
NSUI strictly opposes the decision taken by University of Delhi to conduct the Online Examination because All students don’t have books & internet facilities. Therefore NSUI demands cancellation of Exams.#WaiveFeePromoteStudents#DUAgainstOnlineExams
https://t.co/kx9XBQUN4B https://t.co/CxCOjjWkOH— NSUI (@nsui) May 15, 2020
लॉ की छात्रा अमिशा ने कहा कि यह छात्रों के मौलिक अधिकार का हनन है। इस तरह से कराये जा रहे परीक्षा का हम विरोध करते हैं-
The DU Administration has once again given an example of being unempathetic towards students, their fundamental rights, their mental health ,the idea of learning and accessible education.Strongly condemn this irresponsible act by a 100 year old University.#DUAgainstOnlineExams
— AMISHA (@amishaananda) May 15, 2020
एसएफआई ने कुछ इस तरह जताया विरोध
छात्र संघ एसएफआई दिल्ली ने परीक्षा के डिजिटल मोड के खिलाफ एक जोरदार अभियान शुरू किया है। छात्र संघ प्रतिनिधियों सहित 17 कॉलेजों के 23 छात्रों द्वारा विश्वविद्यालय के कुलपति – प्रो0 त्यागी को एक ऑनलाइन याचिका प्रस्तुत की गई और इस पर 3000 से अधिक छात्रों ने हस्ताक्षर किए और कुलपति और अन्य अधिकारियों को संबोधित एक सामूहिक विरोध ई मेल के माध्यम से प्रकट किया उसमें भी छात्रों द्वारा सक्रिय रूप से भाग लिया गया है।
#DUAgainstOnlineExams#DUAgainstOnlineExams#EducationWithoutExclusion
See the reality! https://t.co/4AX5ZZSY81— SFI Delhi (@SfiDelhi) May 15, 2020
आईसा ने भी जताया विरोध
छात्रा दामिनी ने कहा है कि ऑनलाइन परीक्षा छात्रों के विरुद्ध है-
Students of Delhi University stand against online exams! It is clearly an anti- student move and dismantles the ethos of the university system.#DUAgainstOnlineExams pic.twitter.com/CrEp5S7Hi5
— Damni Kain (@DamniKain) May 15, 2020
AISA SALUTES THE SPIRIT OF DU STUDENT COMMUNITY AGAINST ONLINE EXAMINATIONS!#DuAgainstOnlineExam pic.twitter.com/GMj6pLsTDM
— AISA – Delhi University (@aisa_du) May 15, 2020
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