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विशेष : बधाई! फोरम4 का एक साल शिक्षा, साहित्य और सामाजिक न्याय के साथ

बात क्या है?

इस समय जब देश मे चुनावी माहौल है ऐसे समय मीडिया के बारे में सवाल उठाए जा रहे हैं। हर मीडिया किसी न किसी पार्टी से जुड़ी हुई है यह कहना हास्यास्पद नहीं होगा। वित्तीय सहायता के लिए विज्ञापन एक महत्वपूर्ण साधन है मगर इसे भी प्राप्त करने के लिये नए यू ट्यूबर्स बेचैन रहते हैं। इसी बेचैनी में अपने नैतिक मूल्यों से समझौता करके खबरों को तोड़ मरोड़ कर ही दिखाने में लग जाते हैं। बहुत सारे यू ट्यूबर्स किसी पार्टी की विचारधारा से जुड़कर सब्सक्राइबर बटोरने की जुगत में लग जाते हैं। कुल मिलाकर जो कॉरपोरेट मीडिया है वो गोदी मीडिया तो बन ही चुके हैं साथ ही जो वैकल्पिक मीडिया बन कर मैदान में उतर रहे हैं वे जीविकोपार्जन के लिए मूल्यों से समझौता करते हुए पीत पत्रकारिता करने लगे हैं। मेरा कहना बस इतना है ऐसे में हम जैसे गिने चुने चैनल ही वैकल्पिक मीडिया के रूप में निष्पक्ष बचे हुए हैं जो बिना ठीक प्रकार से वित्तीय सहायता मिले भी अच्छा कार्य करते हुए एक साल की अवधि पूर्ण कर चुके हैं।

हमने क्या पाया

फोरम4 के निष्पक्षता के साथ बने रहने के लिए किसी भी कंपनी की तरह काम करने वाले लोग और उसके प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष सहयोगी ही होते हैं। ऐसे में फोरम4 (forum4.co.in) और Forum4 यूट्यूब से जुड़े हर विचारधारा के लोगों को मैं बधाई देता हूं और आभार देता हूं कि आपने इसे अपने मकसद की ओर ले जाने में सहयोग दिया। इसके लिए मैं अपने समस्त संपादक, रिपोर्ट्स, लेखक, फोटोग्राफर्स, वीडियोग्राफर, मीडिया कोऑर्डिनेटर्स और अन्य सहयोगियों का आभार व्यक्त करता हूं। आपकी ही वजह से इस चैनल ने शिक्षा जगत में डीयू, जेएनयू, जामिया, बीएचयू आदि से जुड़े हजारों शिक्षक और छात्रों के साथ मिलकर मीडिया जगत में एक विमर्श का मुद्दा बना दिया है। क्योंकि आपको पता होना चाहिए कि शिक्षा खासकर उच्च शिक्षा के मुद्दों को गम्भीरता से कवर करने वाले चैनल की बात अब जब होगी तो उसमें फोरम4 का नाम जरूर आएगा। इसलिए खासकर डीयू के सभी विभागों और कॉलेजों की खबरें आप तक पहुंच पाती हैं और आपकी समस्याओं का हल भी मिलने लगा है।

फोरम4 केवल शिक्षा तक ही सीमित नहीं है बल्कि राजनीतिक मुद्दों के लिए इसने पिछले 6 माह में काफी काम किया है। लोगों के बीच जाकर लोकसभा चुनाव के बड़े मुद्दों को आप तक पहुंचाने का भरसक प्रयास भी किया है। जिसे आप हमारे पोर्टल पर लोकसभा चुनाव 2019 के कॉलम के अंतर्गत देख सकते हैं। यह तो रही राजनीति की बात, हमने साहित्य जगत से नामी साहित्यकारों, लेखक व कवयित्रियों के साथ युवा लेखक व लेखिकाओं को भी अपने संवाद में शामिल किया है। उनका साक्षात्कार भी लिया है। इसमें क़ॉलेज के छात्र व शिक्षकों के अलावा नामवर सिंह, अमरेंद्र नाथ त्रिपाठी, मैत्रेयी पुष्पा, विमलेश त्रिपाटी, प्रवीण कुमार, सहर, नीलोत्पल मृणाल, लक्ष्मण राव, प्रख्यात मिश्रा आदि शामिल हैं।

शैक्षणिक, राजनीति, साहित्यिक आदि को अगर छोड़ भी दें तो एक पहलू जो निस्वार्थ भाव से कोई कुछ करता देखा गया है चाहे वह विज्ञान के क्षेत्र में हो या फिर आर्थिक क्षेत्र में हर तरीके से जुड़े समाजसेवी लोगों से मिलने और उनका साक्षात्कार आप तक पहुंचाने का कार्य भी फोरम4 ने बखूबी निभाया है चाहे वो 5 रुपये के खाने की बात हो या फिर वाटर मैन की बात हो या फिर घंटों मुफ्त में ट्रैफिक कंट्रोल करने की, सब कुछ हम कवर करते रहे हैं।

आगे आपके सुझावों से मनोरंजन और खेल पर विस्तृत रूप से हम कार्य करने के लिए आगे आ रहे हैं। साथ ही अन्य मुद्दों पर और बेहतर काम करने की जरूरत है। इसके लिए आपका साथ ही हमें और आगे ले जाएगा और जल्द ही हम एक नए शिखर पर सबको साथ लेते हुए खड़े मिलेंगे। जहां हम हर किसी के लिए एक प्रतीक बनकर उभरेंगे।

यह बहुत जरूरी है…

लेकिन इसके लिए आपके वित्तीय सहयोग की भी जरूरत हमें होगी। तभी हम आगे सुचारू रूप से कार्य कर सकेंगे। इसके लिए आप हमारे न्यूज पोर्टल पर लगे डोनेट कॉलम में जाकर पेटीएम कर सकते हैं। जरूरी नहीं आप वित्तीय सहायता कर पाने में सक्षम हों परंतु कभी भी आपकी जरूरत इस छोटे सहाय़ता का आभार व्यक्त करेगी।

हमारे चेहरे

खैर, अब हम फोरम4 के छुपे और सामने रहे दोनों प्रकार के चेहरों को भी आपके सामने रख रहे हैं। जो फोरम4 का हिस्सा रहे हैं। सूची लंबी है लेकिन नाम लेना भी जरूरी है। सुकृति, श्रेया, आकाश, ललित, देव प्रभाकर पांडेय़, प्रदीप, विद्या सागर, आशुतोष, चंदा, कोमल, विकास, विवेक आनंद सिंह, साहित्य मौर्या आदि कुछ ऐसे नाम हैं जो इस पूरे साल हमसे लगातार किसी न किसी रूप में जुड़े रहे और काम में सहयोग और सुझाव देते रहे।

कुछ नाम ऐसे भी हैं जिनका कभी कभार सहयोग मिला उनमें आव्या, संजय, कोमल,पूजा, सुशील, आशीष, लीजा, देवेश, धीरज, अश्विनी, संजय, पुष्पा, गीतांजलि, पवन, अनुज, नीरज, खुशनूर, संतोष, नेहा, सुनील आदि शामिल हैं। इनमें से कुछ लोग वे भी जिन्होंने इन्टर्न के रूप में कार्य किया।

कुछ ऐसे नाम हैं जिनके बिना फोरम4 टीम पूरी नहीं लग सकती वो धनंजय, जयदीप, प्रभाकर और डॉ केवल राम हैं।

उपरोक्त नाम बधाई के पात्र हैं, इसलिए नहीं कि उन्होंने काम किया है। इसलिए क्योंकि फोरम4 के लिए निस्वार्थ भाव से काम किया है। आभार से तो केवल काम नहीं बन सकता लेकिन जल्द ही हम फोरम4 का हिस्सा रहे लोगों को सम्मानित भी करने जा रहे हैं।

इस सूची में वो नाम शामिल नहीं हैं जो कॉलेज के प्रोफेसर्स औऱ किसी न किसी संगठन या संघ के सदस्य हैं लेकिन उनका फोरम4 तहे दिल से आभार व्यक्त करता है। सूची लंबी है इसलिए लिखना संभव नहीं है। लेकिन आपका तहे दिल से आभार।

आज खुशी का दिन है। यह खुशी इस पोस्ट के माध्यम से पहुंच रही है…

हमारी योजना

लोकसभा चुनाव खत्म होने वाला है और इसके बाद हम विश्वविद्यालय में दाखिले पर पिछली बार से बेहतर तरीके से कवरिंग करने जा रहे हैं। साथ ही हर उस व्यक्ति तक पहुंचने की कोशिश होगी जो किसी न किसी क्षेत्र में बेहतर कार्य कर रहे हैं। साथ ही उन तक भी फोरम4 टीम पहुंचने वाली है जो किसी न किसी प्रकार से सताए गए हैं या पीड़ित हैं। महिलाओं के मुद्दे और विज्ञान व स्वास्थ्य के क्षेत्र पर भी हम बेहतर कार्य करके अब एक नई पहचान बनाएंगे। आप हमसे जुड़ना चाहें या किसी रूप में कोई सुझाव सहयोग देना चाहें तो आप कमेंट बॉक्स के अलावा हमें बिना हिचकिचाहट 18forum4@gmail.com पर मेल कीजिए।

Disclaimer: इस लेख में अभिव्यक्ति विचार लेखक के अनुभव, शोध और चिन्तन पर आधारित हैं। किसी भी विवाद के लिए फोरम4 उत्तरदायी नहीं होगा।

About the Author

प्रभात
लेखक फोरम4 के संपादक हैं।

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