SUBSCRIBE
FOLLOW US
  • YouTube
Loading

यूजीसी के इस बदलाव के बाद पीएचडी करने के लिए पोस्ट ग्रेजुएट होना नहीं होगा जरूरी

यूजीसी एक बार फिर बदलाव की तैयारी में है। आपको पता है कि वर्तमान में स्नातक पाठ्यक्रम तीन साल का और स्नातकोत्तर पाठ्यक्रम दो साल का होता है। लेकिन अब इसमें बदलाव आ रहा है। विश्वविद्यालय की यूजी अवधि तीन साल से बढ़कर चार साल होने जा रही है।

एक समाचार पत्र की खबर के मुताबिक अभी इस योजना पर विचार चल रहा है। अगर इस योजना को मंजूरी दे दी गई तो छात्र कोर्स के बाद पीएचडी के लिए अप्लाई कर सकते हैं। छात्रों को पोस्ट ग्रेजुएशन करना जरूरी नहीं है। इस बात की पुष्टि यूजीसी के अध्यक्ष प्रो. डीपी सिंह ने की है।

अब तक यह नियम चल रहा था कि स्नातक तीन साल और स्नातकोत्तर पाठ्यक्रम दो साल करने के बाद उम्मीदवार को आगे पीएचडी करनी पड़ती थी। आपको बता दें कि देश की शिक्षा नीति में बड़े स्तर पर बदलाव करने के लिए यूजीसी तमाम योजनाएं बना रहा है। इसके लिए एक विशेष समिति का गठन हुआ और शिक्षा नीति में बदलाव के लिए कमेटी ने यूजीसी को अपनी रिपोर्ट सौंप दी है।

Disclaimer: इस लेख में अभिव्यक्ति विचार लेखक के अनुभव, शोध और चिन्तन पर आधारित हैं। किसी भी विवाद के लिए फोरम4 उत्तरदायी नहीं होगा।

Be the first to comment on "यूजीसी के इस बदलाव के बाद पीएचडी करने के लिए पोस्ट ग्रेजुएट होना नहीं होगा जरूरी"

Leave a comment

Your email address will not be published.


*